अमेरिका की केन्द्रीय सरकार ने दीवालिया होने की कगार पर खड़े एआईजी को बचाने के लिए ८५ ख़राब डॉलर की मदद का एलान किया है। यह कंपनी बीमा क्षेत्र में दुनिया की सबसे बड़ी संस्था है और इसके डूबने से अमेरिका ही नहीं दुनिया के देशों में आर्थिक और कारोबारी संकट पैदा हो की आशंका है।
अभी विगत सोमवार को ही निवेश बैंकिंग के शहंशाह समझे जानेवाले लीमन ब्रदर्स ने ख़ुद को दीवालिया घोषित कर दिया था। उसी दिन एक और बड़े निवेश बैंकर मेरिल लिंच ने भी हाथ खड़े कर दिए। इसे बैंक आव अमेरिका ने ५० ख़राब डॉलर में खरीदने का फ़ैसला करके संकट को कम करने की कोशिश की है। लेकिन तभी से बैंक आव अमेरिका के शेयरों के भाव गिर गए हैं। निवेशकों को शंका है कि बैंक आव अमेरिका मेरिल के भरी आर्थिक नुकसान को नहीं झेल पायेगा।
सोमवार को ही एआईजी के संकट की ख़बर आई थी। एआईजी का भारत में टाटा से मिल कर बीमा कंपनी का कारोबार है।
Wednesday, September 17, 2008
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